रायगढ़

आम जनता को समर्पित रहा ‘गौरव न्यूज़’ का प्रथम वर्ष :मुकेश जैन

पिछले 20 वर्षों में आयी तकनीकी क्रांति ने संचार के साधनों को हवा से बातें करने की क्षमता दे दी है। इंटरनेट के अविष्कार और एन्ड्रॉइड मोबाइल ने पत्रकारिता के पूरे कलेवर, तकनीक, गति और उसकी आर्थिकी को सिरे से बदल कर रख दिया है। अब पत्रकारिता बड़े-बड़े मीडिया हाउस व पब्लिसिंग हाउस की जकड़ से बाहर निकल कर अनजाने लेखकों के लिये सुलभ हो गयी है। इस नये बदलाव ने पत्रकारिता के संक्रमणकाल में लेखन से अलग होकर निवृत्ति के मुहाने तक पहुंच चुकी पूर्ववर्ती पीढ़ी के लिये मीडिया में पुनः अपने हाथ आजमाने का विस्तृत क्षेत्र खोल दिया है। भाषा पर पुख्ता पकड़ और अनुभव की समृद्धि लिये हुये कई पुराने पत्रकार वेब न्यूज़ पोर्टल बनाकर पत्रकारिता की दूसरी पारी खेलने के लिये मैदान में उतर गये हैं। इसी जमात में एक सुपरिचित नाम है पत्रकार साथी ‘अनिल पांडेय’ का। छत्तीसगढ़ पत्रकारिता जगत के पुरोधा स्व. गुरुदेव कश्यप के शिष्य अनिल पांडेय ने आज से ठीक एक वर्ष पहले ‘गौरव न्यूज़ पोर्टल’ के नाम से अपना समाचार चैनल आरम्भ किया था। इस एक वर्ष में इस वेब पोर्टल ने आँचलिक स्तर पर अपनी पहचान कायम की है।

मौजूदा दौर में मीडिया की बढ़ती ताकत को देखकर वेब न्यूज़ पोर्टल की बाढ़ सी आ गयी है। इनमें तीव्र प्रतिस्पर्धा के कारण समाचारों की गुणवत्ता व प्रामाणिकता कायम रखने की जगह सबसे तेज और दूसरों से पहले समाचार फ़्लैश करने की आपा-धापी बढ़ी है। यह सुखद बात है कि गौरव न्यूज़ अब तक इस अंधी-दौड़ से बचा हुआ है। अनिल की पत्रकारिता केवल राजनीतिक नेताओं, अफसरों, जमीनखोर माफियाओं, उद्योग जगत के महामानवों व अशुभ घटनाओं के इर्द-गिर्द ही केंद्रित नहीं है वरन उसकी कलम में विविधता है। उसके लेखन में रायगढ़ में गुजरे सामुदायिक जीवन की मिठास और रायगढ़ के लिये भावनात्मक लगाव रह-रहकर उभर आता है। कभी-कभी वह नए पत्रकारों को हेड-मास्टर की तरह नसीहतें देने से भी नहीं चुकता है। अनिल के लेखन में विवादित और पेचदगी से भरे मसलों पर सीधे और दो टूक प्रहार करने की जगह इशारों में बात कहने की प्रवृत्ति जरूर दिखती है (जो संभवतः उम्र का प्रभाव हो ) लेकिन यह उल्लेखनीय है कि उसने प्रायः हर ज्वलन्त मुद्दे पर लिखा और जनहित की कीमत पर कभी प्रभु-वर्गों से कोई समझौता नहीं किया है। यह कहना जरा भी अतिश्योक्ति पूर्ण नहीं होगा कि उसके लिये पत्रकारिता आज भी काफी हद तक जनमत निर्माण व स्वस्थ्य संवाद का जरिया है। वेबसाइट के तकनीक और अन्य इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों के उपयोग से अनभिज्ञ होने के बावजूद अनिल ने इस एक वर्ष में अपनी पहचान के अनुरूप साफ-सुथरा व महत्वपूर्ण सफर तय किया है। पत्रकारिता अब उसके लिये कोई मुकाम हासिल करने की भूख नहीं वरन व्यस्त और मस्त रहने का साधन-मात्र है। गौरव न्यूज़ के स्थापना दिवस पर अनिल पांडेय और सहायक तकनीक मास्टर गौरव चुन्नू पांडेय को हृदय से बधाई एवं शुभकामनाएं।

मुकेश जैन

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